सचिवालय में वनाग्नि नियंत्रण के संबंध में पूर्व में दिए गए निर्देशों की समीक्षा करते हुए लापरवाही बरतने वाले वन विभाग के 17 अधिकारियों/कार्मिकों के विरुद्ध अनुशासनात्मक कार्रवाई सुनिश्चित की। वन विभाग एवं स्थानीय लोगों के सहयोग से काफ़ी हद तक वनाग्नि पर काबू पाया जा चुका है और जल्द ही हम जंगल की आग को पूरी तरह बुझाने में कामयाब होंगे।
बैठक के दौरान फायर स्टेशनों पर वनाग्नि की सूचनाओं पर त्वरित कार्रवाई करने और इसकी तत्काल सूचना डीएफओ, सीसीएफ, पीसीसीएफ के कंट्रोल रूम में दिए जाने की व्यवस्था को मजबूत करने के लिए अधिकारियों को निर्देशित किया। जंगल की आग को कम करने के उद्देश्य से पिरूल को एकत्रित करने के लिए ‘पिरूल लाओ-पैसे पाओ’ मिशन को शुरू करने हेतु अधिकारियों को निर्देश दिए।
साथ ही मानसून सीजन के दृष्टिगत कम से कम रिस्पॉन्स टाइम के साथ राहत एवं बचाव कार्य शुरू करने और इस अवधि में सड़क, बिजली एवं पानी की आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिए अधिकारियों को निर्देशित किया। आपदा की दृष्टि से संवेदनशील क्षेत्रों के लिए खाद्य सामग्री, दवाओं एवं अन्य आवश्यक वस्तुओं की पूर्ण व्यवस्था अभी से सुनिश्चित की जाएगी।
चारधाम यात्रा को सुगम एवं सुरक्षित करने के तहत अधिकारियों को यात्रा की साप्ताहिक समीक्षा करने के साथ ही श्रद्धालुओं की सुविधाओं के दृष्टिगत सभी व्यवस्थाओं को चाक चौबंद करने के निर्देश दिए। चारधाम यात्रा मार्गों पर प्लास्टिक एवं अपशिष्ट प्रबंधन की बेहतर व्यवस्था की जाएगी जिससे यहां आने वाला प्रत्येक श्रद्धालु पर्यावरण संरक्षण का भी संदेश लेकर जाएगा।